सरदार
प्रकाशितकोशों से अर्थ
सम्पादनशब्दसागर
सम्पादनसरदार संज्ञा पुं॰ [फा़॰]
१. किसी मंडली का नायक । अगुवा । श्रेष्ठ व्यक्ति ।
२. किसी प्रदेश का शासक ।
३. अमीर । रईस ।
४. वेश्याओं की परिभाषा में वह व्यक्ति जिसका किसी वेश्या से संबंध हो ।
५. वह जो सिख संप्रदाय को मानता हो । सिखों की उपाधि ।
सरदार तंत्र संज्ञा पुं॰ [फ़ा॰सरदार + सं॰ तन्त्र] एक प्रकार की सरकार जिसमें राजसत्ता या शासनसूत्र सरदारों, बड़े बड़े ताल्लुकदारों या ऐर्श्वशाली नागरिकों के हाथ में रहता है । कुलीन तंत्र । अभिजात तंत्र । कुलतंत्र । दे॰ 'ऐगिस्टोक्रैसी' ।