रई
प्रकाशितकोशों से अर्थ
सम्पादनशब्दसागर
सम्पादनरई ^१ संज्ञा स्त्री॰ [सं॰ रथ ( = हिलाना)] दही मथने की लकड़ी । मथनी । खैलर । उ॰—बासुको नेति अरु मंदराचल रई कमठ मैं आपनी पीठ धारयो ।—सूर (शब्द॰) । क्रि॰ प्र॰—चलना ।—चलाना ।—फेरना ।
रई ^३ वि॰ स्त्री॰ [हिं॰ रयना, रचना> सं॰ रञ्जन]
१. ड़ूवी हुई । पगी हुई । (क) उरहन दैन चली जसुमति को मनमोहन के रूप रई ।—सूर (शब्द॰) । (ख) माधो राधा के रँग राचे राधा माधो रंग रई ।—सूर (शब्द॰) ।
२. अनुरक्त । उ॰—(क)