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प्रकाशितकोशों से अर्थ सम्पादन

शब्दसागर सम्पादन

मृषा ^१ अव्य॰ [सं॰] झुठमुठ । व्यर्थ । उ॰—मुढ़ मृषा का करसि बड़ाई ।—मानस, ५ ।५६ ।

मृषा ^२ वि॰ असत्य । झुठ ।