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प्रकाशितकोशों से अर्थ सम्पादन

शब्दसागर सम्पादन

भक्तकार संज्ञा पुं॰ [सं॰]

१. रसोइया । पाचक ।

२. भक्तकर नामक सुंगधित द्रव्य ।