बिलोना
प्रकाशितकोशों से अर्थ
सम्पादनशब्दसागर
सम्पादनबिलोना ^१ क्रि॰ स॰ [सं॰ विलोडन]
१. मथना । किसी वस्तु, विशेषतः पानी की सी वस्तु, को खूब हिलाना । जैसे, दही
बिलोना (घी निकालने के लिये) । उ॰—ज्यूँ मही बिलोए माखण आवै । त्यूँ मन मथियों तें तत पावै ।—संतबानी॰, भा॰ २, पृ॰ ९८ ।
२. ढालना । गिराना । उ॰—तुलसी मदोवै रोइ रोइ के बिलोबै आँसु बार बार कह्यो मैं पुकारि दाढ़ीजार सों ।—तुलसी (शब्द॰) ।
बिलोना † ^२ संज्ञा पुं॰ [हिं॰ बिलोना] वह वस्तु जो बिलोकर निकाली जाय । नवनीत । मक्खन । उ॰—सत के बिलोना बिलोय मोर माई । ऐसा बिलोय जामें तत्त न जाई ।—कबीर (शब्द॰) ।
बिलोना ^३ वि॰ [हिं॰] 'बिलोन' ।