प्रकाशितकोशों से अर्थ

सम्पादन

शब्दसागर

सम्पादन

फरसा संज्ञा पुं॰ [सं॰ परशु (=फरशु)]

१. पौनी और चौड़ी धार की एक प्रकार की कुल्हाड़ी । यह प्राचीन काल में युद्ध में काम आती थी । उ॰—काल कराल नृपालन के धनुभंग सुने फरसा लिए धाए ।—तुलसी (शब्द॰) ।

२. फावड़ा ।