प्रकाशितकोशों से अर्थ

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शब्दसागर

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पाड़ संज्ञा पुं॰ [हिं॰ पाट ]

१. धोती, साडी आदि का किनारा ।

२. मचान । पायठ ।

३. लकडी़ की जाली या ठठरी जो कुएँ के मुँह पर रखी रहती है । कटकर । चह ।

४. बाँध । पुश्ता ।

५. वह तख्ता जिसपर खडा़ करके फाँसी दी जाती है । तिकठी ।

६. दो दीवारों के बीच पटिया देकर या पाटकर बनाया हुआ आधारस्थान । पाटा । दासा ।