प्रकाशितकोशों से अर्थ

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शब्दसागर

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पशुधर्म संज्ञा पुं॰ [सं॰]

१. पशुओं का सा आचारण । जानवरों का सा व्यवहार । मनुष्य के लिये निद्य व्यवहार । जैसे, स्त्रियों का जिसके पास चाहे उसके पास गमन, पुरुषों का अगम्या आदि का विचार न करना इत्यादि । (मनु॰) ।

२. विधवा का विवाह (को॰) ।