प्रकाशितकोशों से अर्थ

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शब्दसागर

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दुपट्टा संज्ञा पुं॰ [हिं॰ दो + पाट] [स्त्री॰ अल्पा॰ दुपट्टी]

१. ओढ़ने का वह कपड़ा जो दो पाटों को जोड़कर बना हो । दो पाट की चद्दर । चादर । मुहा॰—दुपट्टा तानकर सोना = निश्चित होकर सोना । बेखटके सोना । दुपट्टा बदलाना = सहेली बनाना । सखी बनाना । (स्त्री॰) ।

२. कंधे या गले पर डालने का लंबा कपड़ा ।