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प्रकाशितकोशों से अर्थ सम्पादन

शब्दसागर सम्पादन

दुचित्ता वि॰ [हिं॰ दो + चित्त] [वि॰ स्त्री॰ दुचिती]

१. जिसका चित्त एक बात पर स्थिर न हो । जो कभी एक बात की ओर प्रवृत्त हो और कभी दूसरो । जो दुबिधे में हो । अस्थिरचित्त । अव्यवस्थितचित्त ।

२. संदेह मैं पड़ा हुआ । जिसके चित्त में खटका हो । चिंतित ।