प्रकाशितकोशों से अर्थ

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शब्दसागर

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खत ^१ संज्ञा पुं॰ [अ॰ खत]

१. पत्र । चिट्ठी । उ॰—नहीं आता है अब करार मुझे । तेरे का है इंतजार मुझे ।—शेर॰, भा॰ १, पृ॰ ३६३ । यो॰—खतकिताबत = पत्रव्यवहार ।

२. सिखावट । जैसे—से पहचानता हूँ, यह उन्हीं का खत है ।

३. रेखा । लकीर । धारी ।

४. दाढ़ी के बाल (डिं॰) ।

५. हजामत । क्रि॰ प्र॰—बनाना ।—बनवाना । मुहा॰—खत बनाना = माथे के ऊपरी भाग के बालों को उस्तरे से बराबर करना ।

७. दाढ़ी मूँछ (को॰) ।

८. कान से सटे हुए बालों का निचला भाग । कनपटी के बाल । उ॰—सफाई इठ गई चेहेरे की जब खत का विकाल आया ।—प्रेमघन॰, भा॰ २, पृ॰ २५८ ।

९. चिहन । निशान (को॰) ।

१८. परवाना । राज्या— देश (को॰) ।

खत ^२ संज्ञा पुं॰ [सं॰ क्षत] आघात । प्रहार ।

खत ^३पु संज्ञा स्त्री॰ [सं॰ क्षति] घाव । चोट । उ॰—भरम काटि करि कलम छुरी छबि, तकि तृस्ना खत सारी ।—धरनी॰, पृ॰ ३ ।

खत ^४ संज्ञा स्त्री॰ [सं॰ क्षिति, प्रा॰ खिति] पृथिवि । जमीन । (डिं॰) ।