कड़क
प्रकाशितकोशों से अर्थ
सम्पादनशब्दसागर
सम्पादनकड़क ^१ संज्ञा पुं॰ [सं॰] समुद्री नमक [को॰] ।
कड़क ^२ संज्ञा स्त्री॰ [हिं॰ कड़कड़]
१. कड़कड़ाहट का शब्द । कठोर शब्द । जैसे, —बिजली की कड़क ।
२. तड़प । दपेट । जैसे, — वीरों की कड़क ।
३. गाज । वज्र ।
४. घोड़े की सरपट चाल । क्रि॰ प्र—जाना ।—दौड़ना ।
५. पटेबाजी का वह हाथ जो विपक्षी के दाहिने पैर की बाई ओर मारा जाय । क्रि॰ प्र—मारना ।
६. कसक । दर्द जो रुक रुककर हों ।
७. रुक रुककर और जलन के साथ पेशाब उतरने का रोग । क्रि॰ प्र—थामना ।—पकड़ना ।