प्रकाशितकोशों से अर्थ

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शब्दसागर

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कचालू संज्ञा पुं॰ [हिं॰ कच्चा + आलू]

१. एक प्रकार की अरुई । बंड़ा ।

२. एक प्रकार की चाट । उबाले हुए आलू या बंड़े के कतरे जिसमें नमक, मिर्च, खटाई आदि चरपरी चीजें मिली रहती हैं ।

३. कमरख, अमरूद, खोरे, ककड़ी आदि के छोटे छोटे टुकड़े जिनमें नमक, मिर्च मिली रहती हैं । मुहा॰— कचालू करना या बनाना । = खूब पीटना ।