ओठँगना क्रि॰ अ॰ [सं॰ *अवस्थाङ्गन प्रा॰ *ओट्ठागन या हिं॰ उठ़ना+ अंग] १. किसी वस्तु से टिककर बैठना । सहारा लेना । टेक लगाना । उठँगना । २. थोड़ा आराम करना । कमर सीधी करना ।