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प्रकाशितकोशों से अर्थ सम्पादन

शब्दसागर सम्पादन

ऊगर पु † क्रि॰ अ॰ [सं॰ उद्+ √गृ; प्रा॰ उग्गिल; राज॰ उगरणो उवरणी] बच रहना । निकलना । उ॰—आव धरा दस अनम्यउ, महलाँ ऊपर मेह । बाहर थाजइ ऊगरइ भीगा माँझ धरेह । —ढोला, दू॰ २७२ ।