आँवन संज्ञा पुं॰[सं॰ आनन= मुँह] १. लोहे की सामी जो पहिए के उस छेद के मुँह पर लगी रहती है जिसमें होकर धुरी का दंड जाता है । मुहँड़ी । २. वह औजार जिससे लोहे के छेद को लोहार लोग बढ़ाते हैं ।